लीले चढ़कर सेठ सांवरो, घर में आसी रे लिरिक्स

Lile Chadkar Seth Sanwaro Ghar Me Aasi Re Lyrics

आज भगत तेरी, किस्मत खुल ज्यासी रे,
लीले चढ़कर सेठ सांवरो, घर में आसी रे ।। टेर ।।

तर्ज – थोड़ा देता है ।

मंगाले गंगा जल झारी, तूं करले स्वागत की त्यारी,
सजाले झाँकी बाबा की, बड़ी ही प्यारी मनुहारी,
आकर के बाबो तेरो मान बढ़ासी रे ।। लीले …. ।। १ ।।

बांध के पागड़ी सिरपे, लिये हाथां में मोरछड़ी,
पहन कर प्यारी सी अचकन, यो चाल्यो खाटू को धणी,
लीले की हिन-हिन तुझे, मदमस्त बणासी रे ।। लीले …. ।। २ ।।

जो चरणां सूं नातो जोड़े, यो उनको हाथ ना छोड़े,
कह्वे यो ‘हर्ष’ सांवरियो, भगतां की विपदा न मोड़े,
दुखड़ा सूं पहलाँ यो, झट दौड्यो आसी रे ।। लीले …. ।। ३ ।।

लिरिक्स – विनोद अग्रवाल (हर्ष) जी