श्याम चंदा है, श्यामा चकोरी,
बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी….
गोविंद है गोकुल का राजा,
व्रज की सरकार रानी है राधा,
कृष्ण काला है, राधा है गोरी,
बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी….
श्याम रसिया है, श्यामा रसिली,
कृष्ण छलिया है, राधा शर्मीली,
कृष्ण काला है, राधा है गोरी,
बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी….
दोनों में प्रेम इतना है ज्यादा,
राधा मोहन और मोहन है राधा,
कृष्ण मन का मधुक, राधा भोली,
बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी….
दोनों ही रूप रस की हैं धारा,
जिसमें डूबा है संसार सारा,
नंद नंदन के भानु किशोरी,
बड़ी सुंदर है दोनों की जोड़ी….
(हे नटखट नागर नंदलाला,
हे मुरलीधर, तू मतवाला)
लेखक – श्री मधुप जी हरि महाराज