हमें तो जो भी दिया श्याम बाबा ने दिया,
हमेशा आप के हाथो से सिर झुका के लिया,
हमें तो जो भी दिया श्याम बाबा ने दिया….
मेरी ये ज़िंदगी सरकार की अमानत है,
बदल जो जाऊ प्रभु से तो मुझपे लानत है,
हमेशा आप की चौखट से मुस्कुरा के लिया,
हमें तो जो भी दिया श्याम बाबा ने दिया….
“जहान” में बाबा तुम्हारा कोई जवाब नहीं,
दयालु ऐसा दया का कोई हिसाब नहीं,
दयालु श्याम ने बिन बोले हमारा काम किया,
हमें तो जो भी दिया श्याम बाबा ने दिया….
निभाया अब तक आगे भी तुम निभा देना,
तेरी तौहीन है किसी और से भिक्षा लेना,
हमेशा द्वार से बनवारी झोली भर के लिया,
हमें तो जो भी दिया श्याम बाबा ने दिया….
लिरिक्स – श्याम अग्रवाल जी