(श्लोक:
है खुशियों की भरमार ब्रज की गलियों में,
नाचे गाए है हर इंसान ब्रज की गलियो में,
आए शंकर जी भगवान ब्रज की गलियो में,
करने कान्हा का दीदार ब्रज की गलियो में)
भोला भंडारी आया मोहन तेरी गली में,
मोहन तेरी गली में कान्हा तेरी गली में,
एक झलक पाने आया हु में भी, मोहन तेरी गली में ।।
तर्ज – दीवाना तेरा आया ।
दीदार हो तो जानु स्वीकार हो मानु,
विश्वास मुझको लाया मोहन तेरी गली में,
भोला भंडारी आया मोहन तेरी गली में ।।
(मेरे बंसी वाले श्याम, मेरे बंसी वाले श्याम)
हमने सुना है मोहन तुम तो दया निधि हो,
आशा में लेके आया, मोहन तेरी गली में,
भोला भंडारी आया मोहन तेरी गली में ।।
मैय्या मुझे दिखा दे लाला की एक झलकी,
दर्शन में करके जाऊ मैया तेरी गली में,
भोला भंडारी आया मोहन तेरी गली में ।।
(मेरे बंसी वाले श्याम मेरे बंसी वाले श्याम)
मुझको अगर मिली ना भिक्षा तेरे दरश की,
दिल को ना चैन पाया मोहन तेरी गली में,
भोला भंडारी आया मोहन तेरी गली में ।।
लिरिक्स – संजय अग्रवाल